मेरा साया✍️कवि नीरज त्यागी
अपनी परछाई से मंजिल का पता पूछ रहा हूँ।
भटक गया हूँ,मंजिल का निशान ढूंढ रहा हूँ।।
कोई जब ना दिखा रहा था वहाँ पहुँचने की राह।
तो खुद ही खुद से वहां जाने की राह पूछ रहा हूँ।।
पस्त हौसले से जंग लड़ने की सोच रहा हूँ।
अपने ही साये का सहारा ढूंढ रहा हूँ आजकल।।
मुझे पता है इसका सहारा तो मिल ही जाएगा।
मेरा साया आखिर! मुझ से बच के कहाँ जाएगा।।
शायद हम दोनों मिलकर मंजिल को पा ही लेंगे।
एक न एक दिन दोनों मंजिल को गले लगा लेंगे।।
नाम – नीरज त्यागी
पिता का नाम – श्री आनंद कुमार त्यागी
माता का नाम – स्व.श्रीमती राज बाला त्यागी
EMAIL ID – neerajtya@yahoo.in
एवं neerajtyagi262@gmail.com
ग़ाज़ियाबाद ( उत्तर प्रदेश ). Mobile No. 09582488698